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TRP फर्जीवाड़ाः चैनल देखने के लिए रिपब्लिक टीवी हर माह देता था फिक्स रुपए

– हंसा रिसर्च के गिरफ्तार पूर्व कर्मचारी की डायरी से खुलासा
– मुंबई पुलिस की जांच में लगातार हो रहे खुलासे

आम मत | मुंबई

टीवी चैनल की टीआरपी फर्जीवाड़े में मुंबई पुलिस लगातार खुलासे कर रही है। मामले में पुलिस की जांच में हंसा रिसर्च के पूर्व कर्मी विशाल भंडारी की डायरी से कई खुलासे हुए। डायरी में कई लोगों के नाम दर्ज हैं। इन लोगों से जब पूछताछ की गई तो पता चला कि रिपब्लिक चैनल देखने के लिए उन्हें हर महीने फिक्स रुपए दिए जाते थे। उन्होंने ये भी बताया कि उन्हें रिपब्लिक टीवी देखने के लिए विशाल भंडारी की ओर से पैसा दिया जाता था।

पुलिस ने विशाल और घरवालों के बीच मैसेज का आदान-प्रदान भी पकड़ा। रिपब्लिक चैनल की टीआरपी उन्हीं घरों में अधिक पाई गई, जिन्हें विशाल भंडारी पैसे देता था। फर्जी टीआरपी मामले में गिरफ्तार किए गए विशाल भंडारी, बोमपल्ली राव, नारायण शर्मा और श्रीश शेट्टी को 13 अक्टूबर तक पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। इन चारों से मुंबई पुलिस पूछताछ करेगी।

20 हजार की जगह विशाल लोगों को देता था 500 रुपए

विशाल इस गोरखधंधे में नवंबर 2019 से मई 2020 तक शामिल था। बोमपल्ली राव मिस्त्री भंडारी के संपर्क में थे और इस काम के लिए मिस्त्री विशाल को 20 हजार रुपए दे रहे थे। विशाल ही हर घर में रुपए देने जाता था, लेकिन वह लोगों को 400-500 रुपए ही देता था और बाकी अपने पास रख लेता था।

गवाह के घर में चैनल ने लगा रखा था बैरोमीटर

जांच के दौरान एक गवाह ने बताया कि उसके घर पर एक बैरोमीटर लगा था जिसके लिए उसे हर माह 483 रुपए मिल रहे थे। गवाह के बयान के मुताबिक, ‘जनवरी 2020 में आरोपी विशाल भंडारी और दिनेश विश्वकर्मा मेरे घऱ आए।

भंडारी और विश्वकर्मा ने मुझसे पूछा कि क्या मैं रिपब्लिक टीवी देखता हूं। मैंने उनसे कहा कि नहीं, मुझे रिपब्लिक टीवी पसंद नहीं है। भंडारी और विश्वकर्मा ने कहा कि यदि मैं रिपब्लिक टीवी देखूंगा और चैनल लगाकर उसे ऑन रखूंगा तो इसके लिए मुझे हर महीने 483 रुपए मिलेंगे।’

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